सीएम भगवंत मान सरकार ने राज्य में एडहॉक, ठेका आधारित, डेली वेज, वर्क चार्ज और अस्थायी तौर पर काम कर रहे कर्मचारियों को स्थायी करने का फैसला किया है। इसके लिए पंजाब सरकार ने नई पॉलिसी तैयार की है। इसके तहत 10 साल की सर्विस पूरी कर चुके कर्मचारियों को पक्का किया जाएगा। पॉलिसी के अनुसार, कर्मचारी के स्थायी होने के लिए सर्विस रूल के अनुसार शैक्षणिक योग्यता, पोस्ट व अनुभव समेत अन्य शर्तें पूरी होनी चाहिए। पिछले 10 वर्षों की सर्विस के दौरान कर्मचारी का आचरण संतोषजनक होना चाहिए| 10 साल की समय सीमा की गिनती के समय काल्पनिक ब्रेक पर विचार नहीं किया जाएगा।
यह नीति आउटसोर्स कर्मचारियों के अलावा योग्यता पूरी नहीं करने वाले कर्मचारियों पर लागू नहीं होगी। लाभार्थी कर्मचारियों की 58 वर्ष की आयु तक विशेष कैडर में नियुक्ति रहेगी। कर्मचारियों को कैडर पोस्ट के पद पर नहीं रखा जाएगा। सर्विस रूल के अनुसार कर्मचारी रेगुलर कैडर का हिस्सा नहीं होंगे। मान सरकार द्वारा अब जल्द ही राज्य में 10 साल से अधिक समय से अस्थायी रूप से काम कर रहे कर्मचारियों को स्थायी किया जाएगा। विभिन्न विभागों में काम करने वाले हजारों कर्मचारियों की लंबे समय से उन्हें स्थायी करने की मांग जारी थी।
इस संबंध में कर्मचारी यूनियनों ने पुरानी सरकारों के पास भी अपनी मांग रखी थी। फिर पंजाब में मान सरकार के गठन के बाद भी अस्थायी कर्मचारियों द्वारा उन्हें स्थायी किए जाने की मांग तेज की गई थी। पंजाब सरकार द्वारा पनसब के 2200 कर्मचारियों को भी स्थायी किया जाएगा। इसकी जानकारी कैबिनेट मंत्री लालचंद कटारूचक्क ने दी। उन्होंने बताया कि सीएम भगवंत मान की अगुआई में मंत्रिमंडल द्वारा इसकी मंजूरी दे दी गई है। मंत्री कटारूचक्क द्वारा पनसब के कर्मचारियों को 6वां वेतन कमिशन दे दिया गया है। साथ ही 6वें वेतन कमिशन की सिफारिशें तुरंत लागू करने के दिशा-निर्देश दे दिए गए हैं।