केरल : भूस्खलन प्रभावित वायनाड में बचाव अभियान में शामिल सैनिकों की भूरि-भूरि प्रशंसा करते हुए एक स्कूली छात्र द्वारा लिखे पत्र ने भारतीय सेना का दिल जीत लिया है और उसने अपने सोशल मीडिया हैंडल के जरिए इस पर दिल छू लेने वाला जवाब दिया है। सेना की दक्षिणी कमान ने हाल में ‘एक्स’ पर बच्चे का पत्र और अपना जवाब पोस्ट किया। केरल के इस उत्तरी जिले में एएमएलपी स्कूल के तीसरी कक्षा के छात्र रयान ने अपनी स्कूल की डायरी में लिखे पत्र में कहा कि उसे सैन्य कर्मियों को मलबे में दबे लोगों को बचाते हुए देखकर ‘‘गर्व और खुशी” हुई। बच्चे ने मलयालम में लिखे पत्र में कहा, ‘‘मैं रयान हूं। मेरा प्रिय वायनाड विशाल भूस्खलन की चपेट में आ गया, जिससे तबाही और विनाश हुआ। मुझे आपको मलबे में फंसे लोगों को बचाते हुए देखकर गर्व और खुशी हुई।” उसने एक वीडियो का जिक्र किया है जिसमें सैनिकों को भूस्खलन से तबाह हुए एक इलाके में एक पुल बनाने के दौरान अपनी भूख मिटाने के लिए बिस्कुट खाते हुए देखा गया। बच्चे ने कहा कि इस दृश्य ने उसे बहुत प्रभावित किया है। रयान ने एक दिन भारतीय सेना में भर्ती होने और देश की रक्षा करने की अपनी इच्छा भी जतायी। उसने पत्र में लिखा, ‘‘उस दृश्य में मुझे बहुत प्रभावित किया और मैं एक दिन भारतीय सेना में भर्ती होना और देश की रक्षा करना चाहता हूं।”
सोशल मीडिया पर यह पत्र तेजी से प्रसारित होने पर भारतीय सेना ने 3 अगस्त को ‘एक्स’ पर छात्र को जवाब दिया। लड़के को एक ‘‘योद्धा” बताते हुए सेना ने कहा कि उसके ‘‘मार्मिक शब्दों” ने उसका दिल छू लिया है। दक्षिणी कमान ने कहा, ‘‘प्रिय मास्टर रयान, आपके मार्मिक शब्दों ने हमारा दिल छू लिया है। विपत्ति के समय में, हमारा लक्ष्य आशा की किरण बनना है और आपका पत्र इस लक्ष्य की पुष्टि करता है। आप जैसे नायक हमें अपना सर्वश्रेष्ठ देने के लिए प्रेरित करते हैं। हमें उस दिन का बेसब्री से प्रतीक्षा है जब आप वर्दी पहनेंगे और हमारे साथ खड़े होंगे। हम एक साथ मिलकर अपने देश को गौरवान्वित करेंगे। आपके साहस और प्रेरणा के लिए आभार युवा योद्धा।”
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